“साइबर सुरक्षा प्रशिक्षण” विषय पर त्रिदिवसीय राज्य क्षमता निर्माण कार्यशाला का शुभारंभ किया गया
श्रमिक मंत्र, देहरादून। सूचना प्रौधोगिकी विकास एजेंसी (ITDA) उत्तराखंड द्वारा नेशनल ई-गवर्नन्स डिवीजन (NeGD),एवं मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रानिक्स एण्ड इफॉर्मेशन टेक्नॉलजी (MeitY) भारत सरकार के संयुक्त तत्वाधान मे उत्तराखंड सरकार के विभिन्न विभागों के मुख्य सूचना सुरक्षा अधिकारियों हेतु क्षमता निर्माण कार्यक्रम के तहत “साइबर सुरक्षा प्रशिक्षण” विषय पर त्रिदिवसीय राज्य क्षमता निर्माण कार्यशाला का शुभारंभ किया गया l
उत्तराखंड सरकार के मुख्य सूचना सुरक्षा अधिकारियों (CISO-Chief Information Security Officer) हेतु यह तीन दिवसीय साइबर सुरक्षा प्रशिक्षण कार्यशाला 23 सितंबर से 25 सितंबर, 2024 तक सिविल सेवा संस्थान , ओल्ड मसूरी रोड, देहरादून में आयोजित की जा रही है, जिसमें प्रदेश सरकार के 20 से अधिक विभागों के 30 प्रतिभागी प्रतिभाग कर रहे हैं ।
उद्घाटन सत्र मे कार्यशाला का उद्घाटन श्रीमती नितिका खंडेलवाल, IAS, निदेशक, सूचना प्रौधोगिकी विकास एजेंसी (ITDA) द्वारा किया गया , उन्होंने राज्य के डिजिटल बुनियादी ढांचे और ई-गवर्नेंस सेवाओं की सुरक्षा में साइबर सुरक्षा की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला।
उन्होंने सरकारी विभागों के सामने उत्पन्न होने वाले उभरते साइबर खतरों से निपटने के लिए सरकारी अधिकारियों के बीच क्षमता निर्माण एवं प्रशिक्षण के महत्व पर जोर दिया।
उन्होंने बताया कि प्रशिक्षण कार्यक्रम NeGD द्वारा शुरू की गई राज्य क्षमता निर्माण श्रृंखला कि एक कड़ी है , जिसका उद्देश्य राज्य सरकार के अधिकारियों के बीच साइबर सुरक्षा की तैयारी और जागरूकता बढ़ाना है।
यह साइबर जोखिमों को प्रभावी ढंग से प्रबंधित करने और कम करने के लिए CISO- Chief Information Security Officer को आवश्यक प्रशिक्षण और ज्ञान प्रदान करके सरकारी विभागों की साइबर सुरक्षा स्थिति को मजबूत करने पर केंद्रित है।
कार्यशाला के प्रथम सत्र मे मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रानिक्स एण्ड इफॉर्मेशन टेक्नॉलजी (MeitY) के, डॉ देबजीत कर ने आई टी ऐक्ट और उसमे उल्लिखित विभिन्न बिंदुओं पर विस्तार से प्रकाश डाला, साथ ही शासकीय स्तर पर साइबर सुरक्षा से संबंधित गठित विभिन्न ढांचों के संबंध मे तथा CISO कि भूमिका और उसके अनुपालन के बारे मे प्रतिभागियों को अवगत कराया l
कार्यशाला के दूसरे सत्र मे – मनोज कुमार गुप्ता निदेशक- EY ने “गवर्नन्स रिस्क एण्ड कॉम्प लयंस” विषय पर नेशनल साइबर सिक्युरिटी पॉलिसी पर अपना व्याख्यान प्रस्तुत किया l
उन्होंने प्रमुख साइबर सुरक्षा मुद्दों, शासन और जोखिम प्रबंधन ढाँचों के बारे में प्रतिभागियों को अवगत कराया l उन्होंने डेटा सुरक्षा, एप्लिकेशन सुरक्षा और एंडपॉइंट सुरक्षा, सरकारी प्लेटफ़ॉर्म पर संवेदनशील जानकारी की सुरक्षा सुनिश्चित करने हेतु विस्तार से जानकारी प्रदान की
कार्यशाला के तृतीय सत्र मे Sytech Labs के सीईओ एवं विख्यात साइबर सुरक्षा फोरेंसिक एक्सपर्ट, संदीप मुदालकर द्वारा नेटवर्क सेक्युरिटी पर वीखयन प्रस्तुत किया गया , उन्होंने बताया कि अपने सिस्टम और डेटा को सुरक्षित करने के लिए आपको सार्वजनिक नेटवर्क जैसे – एयरपोर्ट, माल बस स्टॉप, रेलवे स्टेशन, होटेल्स, कैफेटेरिया, आदि स्थानों पर उनके wi-fi का उपयोग करने से बचना चाहिए l
उन्होंने अपने इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस को साइबर हमले से सुरक्षित रखने के विभिन्न विधियों से भी प्रतिभागियों को अवगत कराया l
इस तीन दिवसीय कार्यशाला मे विभिन्न सत्रों के माध्यम से प्रशिक्षण हेतु मुख्यता निम्न विषयों पर जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी :-
1- नेटवर्क और क्लाउड सुरक्षा में व्यावहारिक ज्ञान से लैस करना, जो राज्य-स्तरीय ई-गवर्नेंस सिस्टम को सुरक्षित करने के लिए महत्वपूर्ण है।
2- साइबर संकट प्रबंधन योजनाओं (CCMP) को विकसित करने और लागू करने में प्रतिभागियों को प्रशिक्षित करना, जिससे विभाग साइबर सुरक्षा घटनाओं पर प्रभावी ढंग से प्रतिक्रिया दे सकें।
3- पहचान और पहुँच प्रबंधन चुनौतियों का समाधान करना, सरकारी विभागों के भीतर डिजिटल सिस्टम के सुरक्षित उपयोग को बढ़ाना।
कार्यशाला मे व्यावहारिक, गहन प्रशिक्षण के माध्यम से विभिन्न विभागों के 30 से अधिक प्रतिभागियों को सुरक्षित और लचीला ई-गवर्नेंस पारिस्थितिकी तंत्र बनाने के लिए विभिन्न उपकरणों, तकनीकी एवं व्यावहारिक ज्ञान प्रदान किया जाएगा l
कार्यशाला में साइबर सुरक्षा विषयों की एक विस्तृत श्रृंखला शामिल है, जो महत्वपूर्ण सरकारी बुनियादी ढांचे की सुरक्षा और राज्य विभागों की साइबर रक्षा क्षमताओं को बढ़ाने पर केंद्रित है।
प्रतिभागियों को राष्ट्रीय साइबर सुरक्षा ढांचे और मानकों का पालन करने, CERT-In दिशानिर्देशों और प्रासंगिक कानूनी ढांचे के अनुपालन को सुनिश्चित करने के बारे में मार्गदर्शन प्राप्त होगा।
प्रशिक्षण में उत्तराखंड में सरकारी विभागों द्वारा अपनाए गए साइबर सुरक्षा प्रोटोकॉल और रणनीतियों को बेहतर बनाने के उद्देश्य से व्यावहारिक सत्र भी शामिल किए गए हैं।
कार्यशाला मे अगले दो दिनों मे साइबर सुरक्षा ऑडिट, डेटा गवर्नेंस और घटना प्रतिक्रिया (इंसिडेंट रिस्पांस )ढांचे पर अतिरिक्त सत्र होंगे, जो प्रतिभागियों की सरकारी प्रणालियों को सुरक्षित करने की क्षमता को और मजबूत करेंगे।
यह कार्यशाला उत्तराखंड सरकार के लिए एक मजबूत साइबर सुरक्षा ढांचा बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
यह साइबर सुरक्षा जागरूकता बढ़ाने और राज्य सरकारों में क्षमता निर्माण के लिए राज्य में ITDA एवं NeGD के चल रहे प्रयासों का एक हिस्सा है, जो डिजिटल इंडिया पहल के तहत एक सुरक्षित और डिजिटल रूप से सशक्त उत्तराखंड एवं सशक्त भारत के समग्र दृष्टिकोण में योगदान देता है।
कार्यक्रम में डी आई जी , उत्तराखंड पुलिस- सेंथिल , डी जी एम , ITDA- राम स्वरुप उनियाल एवं विभिन्न बिभागों – पिटकुल,सैनिक कल्याण, रेशम विभाग, उत्तराखंड अंतरिक्ष उपयोग केंद्र (यूसैक), आदि 20 विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे l